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Saraswati Mata Aarti Lyrics (Hindi Lyrics) | Jain Aarti - Jain Stuti Stavan

Saraswati Mata Aarti Lyrics (Hindi Lyrics) 
सरस्वती माँ की आरती (Hindi Lyrics)

Saraswati Mata Aarti Lyrics

 जय वागिश्वरी माता, जय जय जननी माता ,
पद्मासनी भवतारिणी (२) अनुपम रस दाता…
जय वागिश्वरी माता….. || 1 ||

हंसवाहिनी जलविहारिणी, अलिप्त कमल समी (२)
ईन्द्रादि किन्नरने (२) सदा तुं हृदये गमी…
जय वागिश्वरी माता….. || 2 ||


तुजथी पंडित पाम्या, कंठ शुद्धि सहसा (२)
यशस्वी शिशुने करतां (२) सदा हसित मुखा…
जय वागिश्वरी माता…. || 3 ||

ज्ञान ध्यान दायिनी, शुद्ध ब्रह्म कृपा (२)
अगणित गुणदायिनी (२) विश्वे छो अनूपा…
जय वागिश्वरी माता….. || 4 ||


ऊर्ध्वगामिनी मां तुं, ऊर्ध्वे लइ लेजे (२)
जन्म मरण ने टाळी (२) आत्मिक सुख देजे…
जय वागिश्वरी माता…. || 5 ||

रत्नमयी ऐँ रुपा, सदाय ब्रह्म प्रिया (२)
कर कमले वीणाथी (२) शोभो ज्ञान प्रिया…
जय वागिश्वरी माता…. || 6 ||


दोषो सहुना दहतां, अक्षय सुख आपो (२)
साधक इच्छित अर्पी (२) शिशु उरने तर्पो …..
जय वागिश्वरी माता…. || 7 ||

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